किसी हत्या के मामले की सुनवाई के दौरान निम्नलिखित में से क्या सिद्ध किया जा सकता है?

  1. जांच के दौरान पुलिस हिरासत में आरोपी द्वारा दिया गया कबूलनामा
  2. एक अन्य मामले की जांच के दौरान आरोपी द्वारा दिए गए बयान के आधार पर अपराध के हथियार की बरामदगी
  3. शव बरामद होने के बाद आरोपी का बयान कि उसने शव कहां फेंका
  4. उपरोक्त में से कोई नहीं।

Answer (Detailed Solution Below)

Option 2 : एक अन्य मामले की जांच के दौरान आरोपी द्वारा दिए गए बयान के आधार पर अपराध के हथियार की बरामदगी

Detailed Solution

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सही उत्तर विकल्प 2 है।

Key Points

  • किसी अन्य मामले की जांच के दौरान अभियुक्त द्वारा दिए गए बयान के आधार पर अपराध का हथियार बरामद किया जाता है तो यह भारतीय साक्ष्य अधिनियम, 1872 की धारा 27 के तहत स्वीकार्य है।

Additional Information

  • साक्ष्य अधिनियम की धारा 27 अनुवर्ती घटनाओं द्वारा पुष्टि के सिद्धांत पर आधारित है - दी गई जानकारी के परिणामस्वरूप वास्तव में एक तथ्य की खोज की जाती है, जिसके परिणामस्वरूप भौतिक वस्तु की बरामदगी होती है। खोजे गए तथ्य और बरामदगी इस बात का आश्वासन है कि अपराध के आरोपी व्यक्ति द्वारा दी गई जानकारी पर विश्वास किया जा सकता है।
  • राज्य (NCT दिल्ली) बनाम नवजोत संधू उर्फ अफसान गुरु 2005 मामले में, न्यायालय ने इस आवश्यकता को बरकरार रखा कि साक्ष्य अधिनियम की धारा 27 के तहत खोजै गया तथ्य एक ठोस वास्तविकता हो, जिससे जानकारी सीधे मामले से संबंधित हो। इसके अलावा, खोजा गया तथ्य किसी पदार्थ/भौतिक वस्तु से संबंधित होना चाहिए और एक मानसिक तथ्य को संदर्भित नहीं करना चाहिए जो एक भौतिक वस्तु के संबंध में हो, जो भौतिक वस्तु की पुनर्प्राप्ति से अलग है।

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