सुमेलित कीजिए :

(क) कृपादृष्टि हो जाए तो बन जाएँ सब काम (i) दुष्क्रमत्व दोष
(ख) लपटी पुष्प पराग रज, सनी स्वेद मकरंद। (ii) अक्रमत्व दोष
(ग) विश्व में मिलते नहीं हैं, वीर भीम समान के। (iii) अधिकपदत्व दोष
(घ) नृप मो को हय दीजिये, अथवा मत्त गजेन्द्र। (iv) न्यूनपदत्व दोष

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  1. (क) - (iii), (ख) - (iv), (ग) - (ii), (घ) - (i)
  2. (क) - (iv), (ख) - (iii), (ग) - (ii), (घ) - (i)
  3. (क) - (iv), (ख) - (iii), (ग) - (i), (घ) - (ii)
  4. (क) - (i), (ख) - (ii), (ग) - (iii), (घ) - (iv)

Answer (Detailed Solution Below)

Option 2 : (क) - (iv), (ख) - (iii), (ग) - (ii), (घ) - (i)
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HTET PGT Official Computer Science Paper - 2019
60 Qs. 60 Marks 60 Mins

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सही सुमेलन हैं-

कृपादृष्टि हो जाए तो बन जाएँ सब काम न्यूनपदत्व दोष
लपटी पुष्प पराग रज, सनी स्वेद मकरंद। अधिकपदत्व दोष
विश्व में मिलते नहीं हैं, वीर भीम समान के।  अक्रमत्व दोष
नृप मो को हय दीजिये, अथवा मत्त गजेन्द्र दुष्क्रमत्व दोष

Key Pointsअधिकपदत्व दोष-

  • जहाँ काव्य में अनावश्यक शब्दों का प्रयोग किया जाए, वहाँ अधिक पदत्व दोष होता है। 
  • उदाहरण-
    • पुष्प पराग से रंगकर भ्रमर गुंजारता है।
    • उपर्युक्त पंक्ति में ‘पुष्प’ शब्द को हटा देने पर भी अर्थ स्पष्ट हो जाता है। ‘पुष्प’ का प्रयोग अधिक होने के कारण अधिकपदत्व दोष है।

न्यूनपदत्व दोष-

  • जहाँ अभीष्ट अर्थ को सूचित करने वाले पद की कमी हो और अर्थ को स्पष्ट करने के लिए कोई शब्द जोडना पड़े, वहाँ न्यून पदत्व दोष होता है। 
  • उदाहरण-
    • "पानी, पावक पवन प्रभु ज्यों असाधु त्यों साधु।"
    • पानी, पावक पवन और प्रभु साधु और असाधु के साथ समान व्यवहार करते हैं- कवि यह कहना चाहता है, किन्तु समान व्यवहार शब्द को यहां छोड़ दिया गया है जिससे अर्थ में बाधा उत्पन्न हो रही है, अतः न्यून पदत्व दोष है।

अक्रमत्व दोष-

  • जहाँ कोई पद उचित स्थान पर प्रयुक्त न होकर अनुचित स्थान पर प्रयुक्त हो और उसका क्रम जोडने में कठिनाई हो, वहाँ अक्रमत्व दोष होता है। 
  • उदाहरण-
    • विश्व में लीला निरन्तर कर रहे हैं मानवी। 
    • यहां मानवी शब्द लीला से पहले प्रयुक्त होना चाहिए। वे प्रभु इस संसार में निरन्तर मानवी लीला कर रहे हैं।

दुष्क्रमत्व दोष-

  • जहाँ शास्त्रों अथवा परम्परा में प्रसिद्ध क्रम के विपरीत किसी बात का वर्णन होता है, वहाँ दुष्क्रमत्व दोष होता है।
  • उदाहरण-
    • "मारुत नन्दन मारुत को, मन को, खगराज को वेग लजायौ।"
    • उपर्युक्त पंक्ति में दुष्क्रमत्व दोष है क्योंकि मन को सही क्रम में नहीं रखा गया है।

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